मूर्ख मैं नहीं, ये दो पाए ही मूर्ख है, इत्ता भी नहीं जानते कि भगवान की पूजा प्रेम से की जाती है फ़ूल से नहीं ........
...अच्छे हैं चित्र !
धरती ने प्रेम से चढाया फूल आसमान को ,आदमी ने तोड़ा भगवान से अपनी आकांछ्या पूरी कराने को.
सारे चित्र शानदार हैं....आप तो फोटोग्राफर भी अच्छे हैं भई....
ये दो पाये ऐसा क्यों करते हैं ?क्या पता कोई जिन्दा चिनवा दिया गया हो यहाँ ... :(
मूर्ख मैं नहीं, ये दो पाए ही मूर्ख है, इत्ता भी नहीं जानते कि भगवान की पूजा प्रेम से की जाती है फ़ूल से नहीं ........
ReplyDelete...अच्छे हैं चित्र !
ReplyDeleteधरती ने प्रेम से चढाया फूल आसमान को ,आदमी ने तोड़ा भगवान से अपनी आकांछ्या पूरी कराने को.
ReplyDeleteसारे चित्र शानदार हैं....आप तो फोटोग्राफर भी अच्छे हैं भई....
ReplyDeleteये दो पाये ऐसा क्यों करते हैं ?
ReplyDeleteक्या पता कोई जिन्दा चिनवा दिया गया हो यहाँ ... :(